महासमà¥à¤®à¥‡à¤²à¤¨ आरà¥à¤¯ समाज के इतिहास में à¤à¤• और गौरवमय अधà¥à¤¯à¤¾à¤¯ बन गया
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Prakash AryaDate
04-Oct-2018Category
संसà¥à¤®à¤°à¤£Language
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RajeevUpload Date
04-Nov-2018Download PDF
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आरà¥à¤¯à¥‹à¤‚ का महाकà¥à¤‚ठ- अनà¥à¤¤à¤°à¥à¤°à¤¾à¤·à¥à¤Ÿà¥à¤°à¥€à¤¯ आरà¥à¤¯ महासमà¥à¤®à¥‡à¤²à¤¨-2018
यह विचार कोरी कलà¥à¤ªà¤¨à¤¾ से या à¤à¤¾à¤µà¤¨à¤¾à¤¤à¥à¤®à¤• दृषà¥à¤Ÿà¤¿ से नहीं है यथारà¥à¤¤à¤¤à¤¾ है, जन-जन की à¤à¤¾à¤µà¤¨à¤¾ है। असंà¤à¤µ कà¥à¤› नहीं, आवशà¥à¤¯à¤•à¤¤à¤¾ है सही कारà¥à¤¯ के निरà¥à¤£à¤¯ की, कारà¥à¤¯ की, सही योजना की, और उसके साथ पूरà¥à¤£ पà¥à¤°à¥à¤·à¤¾à¤°à¥à¤¥ की। यह सब कहने और सà¥à¤¨à¤¨à¥‡ में तो कई बार आता रहा है किनà¥à¤¤à¥ उसका पà¥à¤°à¤¤à¥à¤¯à¤•à¥à¤· परिणाम या उसका फल अनà¥à¤¤à¤°à¥à¤°à¤¾à¤·à¥à¤Ÿà¥à¤°à¥€à¤¯ आरà¥à¤¯ महासमà¥à¤®à¥‡à¤²à¤¨ को देखने पर हà¥à¤†à¥¤
उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤ आरà¥à¤¯à¤œà¤¨à¥‹à¤‚ ने अपनी कलà¥à¤ªà¤¨à¤¾ से ऊपर अकलà¥à¤ªà¤¨à¥€à¤¯ दृशà¥à¤¯ देखकर आशà¥à¤šà¤°à¥à¤¯ तो किया ही पर मà¥à¤– से अकसà¥à¤®à¤¾à¤¤ निकला आह............ वाह-वाह .........., गजब है........, कितना à¤à¤µà¥à¤¯ है... à¤à¤¸à¤¾ तो कोई सोच à¤à¥€ नहीं सकता था; आदि विचार पà¥à¤°à¤¤à¥à¤¯à¥‡à¤• आगनà¥à¤¤à¥à¤• के à¤à¤¾à¤µà¥‹à¤‚ में या वाणी में और इससे à¤à¥€ अधिक उनकी विसà¥à¤®à¤¯à¤•à¤¾à¤°à¥€ आंखों की और चेहरे की चमक से, पà¥à¤°à¤¸à¤¨à¥à¤¨à¤¤à¤¾ से पà¥à¤°à¤¦à¤°à¥à¤¶à¤¿à¤¤ हो रही थी।
पà¥à¤°à¤¤à¥à¤¯à¤•à¥à¤· रूप से मिलने वाला कोई वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ मिलता तो सबसे पहला शबà¥à¤¦ यही होता बधाई हो, बहà¥à¤¤ धनà¥à¤¯à¤µà¤¾à¤¦ इतना बड़ा और à¤à¤µà¥à¤¯ कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® तो कà¤à¥€ सोचा ही नहीं, आननà¥à¤¦ आ गया। इस पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° की अà¤à¤¿à¤µà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ सà¤à¤¾ के पदाधिकारियों या कारà¥à¤¯à¤•à¤°à¥à¤¤à¤¾à¤“ं को सà¥à¤¨à¤¨à¥‡ को मिल रही थीं। आरà¥à¤¯à¤œà¤¨ आपस में à¤à¤¸à¥‡ मिल रहे थे जैसे किसी परà¥à¤µ पर पà¥à¤°à¤¸à¤¨à¥à¤¨ होते हैं। पà¥à¤°à¤¤à¥à¤¯à¥‡à¤• वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ इस आयोजन को सराह रहा था। कई कहते ‘‘à¤à¥‚तो न à¤à¤µà¤¿à¤·à¥à¤¯à¤¤à¤¿’’ हम कहते à¤à¤¾à¤ˆ à¤à¥‚त का तो माना जा सकता है किनà¥à¤¤à¥ à¤à¤µà¤¿à¤·à¥à¤¯ न कहो, 2024 में महरà¥à¤·à¤¿ का 200 वां जनà¥à¤® वरà¥à¤· है इसे इससे à¤à¥€ वृहद मनायेंगे। यह सब शबà¥à¤¦à¥‹à¤‚ विचारों से पूरà¥à¤£ à¤à¤¾à¤µ à¤à¤‚गिमा का होना सà¥à¤µà¤¾à¤à¤¾à¤µà¤¿à¤• ही था, इसमें कोई मिथà¥à¤¯à¤¾ à¤à¤¾à¤µ या अतिशà¥à¤¯à¥‹à¤•à¥à¤¤à¤¿ नहीं है।
कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® को à¤à¤µà¥à¤¯ विशाल और सारà¥à¤¥à¤•à¤¤à¤¾ पà¥à¤°à¤¦à¤¾à¤¨ करने में तीन पहलà¥à¤“ं को देखना होगा। पहला है कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® का विचार, उसकी योजना और पूरी रूपरेखा निरà¥à¤®à¤¿à¤¤ करना। जिस पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° किसी इमारत के लिठà¤à¤• वà¥à¤¯à¤µà¤¸à¥à¤¥à¤¿à¤¤, पूरà¥à¤µ से सोची-विचारी योजना को कागज पर चितà¥à¤°à¤¿à¤¤ किया जाता है जिसे नकà¥à¤¶à¤¾ कहते हैं, यह नकà¥à¤¶à¤¾ à¤à¤• पà¥à¤°à¤¶à¤¿à¤•à¥à¤·à¤¿à¤¤ इनà¥à¤œà¥€à¤¨à¤¿à¤¯à¤° के मारà¥à¤—दरà¥à¤¶à¤¨ में तैयार होता है, उसके अनà¥à¤¸à¤¾à¤° à¤à¤µà¤¨ का निरà¥à¤®à¤¾à¤£ होता है, जैसा नकà¥à¤¶à¤¾ वैसा à¤à¤µà¤¨à¥¤ ठीक उसी पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° इस कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® की पूरà¥à¤µ पà¥à¤²à¤¾à¤¨à¤¿à¤‚ग कई माह से होती रही जिसमें सारà¥à¤µà¤¦à¥‡à¤¶à¤¿à¤• सà¤à¤¾ के पà¥à¤°à¤®à¥à¤– अधिकारी, दिलà¥à¤²à¥€ आरà¥à¤¯ पà¥à¤°à¤¤à¤¿à¤¨à¤¿à¤§à¤¿ सà¤à¤¾ के बड़ी संखà¥à¤¯à¤¾ में अधिकारी, अनà¥à¤¯ कई आरà¥à¤¯ समाज के वरिषà¥à¤ नेता व कारà¥à¤¯à¤•à¤°à¥à¤¤à¤¾à¤“ं के दà¥à¤µà¤¾à¤°à¤¾ à¤à¤• लमà¥à¤¬à¥‡ समय के विचार विमरà¥à¤¶ के पशà¥à¤šà¤¾à¤¤à¥ अनेक पà¥à¤°à¤¬à¥à¤¦à¥à¤§ विचारशील आरà¥à¤¯à¤œà¤¨à¥‹à¤‚ ने सà¤à¤¾ पà¥à¤°à¤§à¤¾à¤¨ शà¥à¤°à¥€ सà¥à¤°à¥‡à¤¶ चनà¥à¤¦à¥à¤° जी आरà¥à¤¯ के नेतृतà¥à¤µ में इसे अनà¥à¤¤à¤¿à¤® रूप दिया। à¤à¤¾à¤ˆ धरà¥à¤®à¤ªà¤¾à¤² आरà¥à¤¯ को समà¥à¤®à¥‡à¤²à¤¨ का संयोजक मनोनीत किया था, उनके साथ ही शà¥à¤°à¥€ विनय आरà¥à¤¯ की सकà¥à¤°à¤¿à¤¯à¤¤à¤¾ इसकी à¤à¤• विशेष कड़ी रही। जब योजना अचà¥à¤›à¥€ थी तो उसका वà¥à¤¯à¤µà¤¹à¤¾à¤°à¤¿à¤• रूप तो अचà¥à¤›à¤¾ अवशà¥à¤¯à¤®à¥‡à¤µ होना था।
कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® सफलता का दूसरा पहलू था - उस योजना का कà¥à¤°à¤¿à¤¯à¤¾à¤¨à¥à¤µà¤¯à¤¨ करने वाले आरà¥à¤¯à¤œà¤¨à¥¤ इसमें पहले पैसा, संसार में पैसा सब कà¥à¤› नहीं है, किनà¥à¤¤à¥ बहà¥à¤¤ कà¥à¤› है, इससे कोई मना नहीं कर सकता। योजना का आधार धन होता है। यदि धन की वà¥à¤¯à¤µà¤¸à¥à¤¥à¤¾ पà¥à¤°à¤šà¥à¤° मातà¥à¤°à¤¾ में नहीं होती तो कितनी à¤à¥€ सà¥à¤¨à¥à¤¦à¤° योजना होती वह योजना, योजना ही रह जाती। परमातà¥à¤®à¤¾ की कृपा से महरà¥à¤·à¤¿ व वैदिक धरà¥à¤® अनà¥à¤¯à¤¾à¤¯à¥€ à¤à¤¾à¤®à¤¾à¤·à¤¾à¤¹ बनकर आगे आये और कारà¥à¤¯à¤•à¤°à¥à¤¤à¤¾à¤“ं को निशà¥à¤šà¤¿à¤¤ कर दिया, इस महान कारà¥à¤¯ की तैयारी के लिà¤à¥¤
इसमें सरà¥à¤µà¤ªà¥à¤°à¤¥à¤® वरà¥à¤¤à¤®à¤¾à¤¨ आरà¥à¤¯ जगत के सरà¥à¤µà¤¾à¤§à¤¿à¤• तन-मन-धन से सहयोगी आरà¥à¤¯ समाज के à¤à¤¾à¤®à¤¾à¤·à¤¾à¤¹ कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® के सà¥à¤µà¤¾à¤—ताधà¥à¤¯à¤•à¥à¤· महाशय धरà¥à¤®à¤ªà¤¾à¤² जी (à¤à¤®.डी.à¤à¤š.) कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® के पà¥à¤°à¤šà¤¾à¤°-पà¥à¤°à¤¸à¤¾à¤° में à¤à¥€ बहà¥à¤¤ बड़ा सहयोग रहा। महाशय जी का उतà¥à¤¸à¤¾à¤¹ व सहयोग कितना था वह उनकी इस à¤à¤¾à¤µà¤¨à¤¾ से आप जान सकते हैं-‘‘समà¥à¤®à¥‡à¤²à¤¨ में आने वाले पà¥à¤°à¤¤à¥à¤¯à¥‡à¤• वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ की à¤à¤¸à¥€ आवà¤à¤—त करना जैसे जंवाई राजा की होती है। खाने-पीने में बà¥à¤¿à¤¯à¤¾ à¤à¥‹à¤œà¤¨ और शà¥à¤¦à¥à¤§ घी का उपयोग हो।’’ इसके साथ ही इस शà¥à¤°à¥ƒà¤‚खला में आरà¥à¤¥à¤¿à¤• बड़े सहयोगी की दृषà¥à¤Ÿà¤¿ से सà¤à¤¾ पà¥à¤°à¤§à¤¾à¤¨ शà¥à¤°à¥€ सà¥à¤°à¥‡à¤¶ चनà¥à¤¦à¥à¤° आरà¥à¤¯ जी, शà¥à¤°à¥€ सà¥à¤°à¥‡à¤¨à¥à¤¦à¥à¤° कà¥à¤®à¤¾à¤° आरà¥à¤¯ जी (जे.बी.à¤à¤®.), शà¥à¤°à¥€ मà¥à¤‚जाल परिवार, शà¥à¤°à¥€, अशोक जी चौहान (à¤à¤®à¤¿à¤Ÿà¥€), शà¥à¤°à¥€ दीन दयाल जी गà¥à¤ªà¥à¤¤à¤¾ (डॉलर), धरà¥à¤®à¤ªà¤¾à¤² आरà¥à¤¯à¥¤ इसके अतिरिकà¥à¤¤ पà¥à¤°à¤¾à¤¨à¥à¤¤à¥€à¤¯ सà¤à¤¾à¤“ं से उनमें सबसे बड़ा सहयोग दिलà¥à¤²à¥€ आरà¥à¤¯ पà¥à¤°à¤¤à¤¿à¤¨à¤¿à¤§à¤¿ सà¤à¤¾ का पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤ हà¥à¤†à¥¤ जिन महानà¥à¤à¤¾à¤µà¥‹à¤‚ ने समà¥à¤®à¥‡à¤²à¤¨ के पूरà¥à¤µ सहयोग नहीं दिया था, उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने समà¥à¤®à¥‡à¤²à¤¨ सà¥à¤¥à¤² पर आकर अपना आरà¥à¤¥à¤¿à¤• सहयोग दिया, जिनकी संखà¥à¤¯à¤¾ हजारों में रही। इस यजà¥à¤ž में छोटी से छोटी राशि देने वाले à¤à¥€ बड़े उतà¥à¤¸à¤¾à¤¹ से राशि देकर अपने को à¤à¤¾à¤—à¥à¤¯à¤¶à¤¾à¤²à¥€ मान रहे थे। इस पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° आरà¥à¤¥à¤¿à¤• सहयोग देने हेतॠपूरा आरà¥à¤¯ जगत तैयार था।
इसी का दूसरा पहलू है - कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® में उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ यह à¤à¤• अदà¥à¤à¥à¤¦ दृशà¥à¤¯ था, जब हजारों-हजारों की संखà¥à¤¯à¤¾ में आरà¥à¤¯à¤œà¤¨ दिखाई पड़ते। à¤à¤¸à¤¾ पà¥à¤°à¤¤à¥€à¤¤ हो रहा था जैसे किसी नगर या गà¥à¤°à¤¾à¤® में कोई जातà¥à¤°à¤¾-मेला लगा हà¥à¤† है, जिसमें बचà¥à¤šà¥‡, जवान, बूà¥à¥‡ सà¤à¥€ देखने के लिठआठहà¥à¤ हैं।
यदि सारी वà¥à¤¯à¤µà¤¸à¥à¤¥à¤¾à¤à¤‚ ठीक हो जाती, विदà¥à¤µà¤¾à¤¨ वकà¥à¤¤à¤¾ à¤à¥€ उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤ हो जाते किनà¥à¤¤à¥ शà¥à¤°à¥‹à¤¤à¤¾ के रूप में उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ कम होती तो ? फिर तो इस कारण से सारा किया गया पà¥à¤°à¤¯à¤¾à¤¸ वà¥à¤¯à¤°à¥à¤¥ चले जाता। पूरे कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® की सारà¥à¤¥à¤•à¤¤à¤¾, शोà¤à¤¾, बड़ी संखà¥à¤¯à¤¾ में उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤ शà¥à¤°à¥‹à¤¤à¤¾à¤“ं के कारण हà¥à¤ˆà¥¤
कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® की सफलता हेतॠउपरोकà¥à¤¤ तीनों कारण उपलबà¥à¤§ थे, इसमें पà¥à¤°à¤¤à¥à¤¯à¤•à¥à¤· अपà¥à¤°à¤¤à¥à¤¯à¤•à¥à¤· रूप से हजारों कारà¥à¤¯à¤•à¤°à¥à¤¤à¥à¤¤à¤¾à¤“ं का अथक पà¥à¤°à¥à¤·à¤¾à¤°à¥à¤¥, दानदाताओं, विदà¥à¤µà¤¾à¤¨à¥‹à¤‚ का सहयोग और परमपिता परमातà¥à¤®à¤¾ की अपार कृपा रही। इसलिठयह इतना à¤à¤µà¥à¤¯ व सफल हà¥à¤†à¥¤
इसी का तीसरा पहलू है कारà¥à¤¯à¤•à¤°à¥à¤¤à¤¾à¤“ं दà¥à¤µà¤¾à¤°à¤¾ इस योजना को सफल बनाने के लिठपà¥à¤°à¤¯à¤¾à¤¸à¥¤ इस संबंध में मैं किसका नाम लूं किसका न लूं, यह à¤à¤• बड़ी उलà¤à¤¨ वाली सà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ है। पूरे कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® में जो कारà¥à¤¯à¤•à¤°à¥à¤¤à¤¾à¤“ं का मनोबल, उतà¥à¤¸à¤¾à¤¹ की पराकाषà¥à¤ ा देखने में आई उसे जà¥à¤¨à¥‚न शबà¥à¤¦ से समà¤à¤¾ जा सकता है। तातà¥à¤ªà¤°à¥à¤¯ यह कि मनà¥à¤·à¥à¤¯ की उसी सà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ को जà¥à¤¨à¥‚न कहा जाता है जिसमें वह कà¥à¤› पाने के लिठअथवा कà¥à¤› कर गà¥à¤œà¤°à¤¨à¥‡ के लिठअपनी पूरी शकà¥à¤¤à¤¿ और सब कà¥à¤› दांव पर लगाकर à¤à¥€ उसे पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤ करने का पà¥à¤°à¤¯à¤¾à¤¸ करता है। वही जà¥à¤¨à¥‚न अनà¥à¤¤à¤°à¥à¤°à¤¾à¤·à¥à¤Ÿà¥à¤°à¥€à¤¯ आरà¥à¤¯ महासमà¥à¤®à¥‡à¤²à¤¨ की सफलता के लिठजी जान से जà¥à¤Ÿà¥‡ कारà¥à¤¯à¤•à¤°à¥à¤¤à¤¾à¤“ं में देखने को मिला। सकà¥à¤°à¤¿à¤¯à¤¤à¤¾, उतà¥à¤¸à¤¾à¤¹ और लकà¥à¤·à¥à¤¯ जब तीनों का मिशà¥à¤°à¤£ हो जाठतो असफलता का कोई कारण ही नहीं बनता, जो ऑंखों ने देखा, कानों ने सà¥à¤¨à¤¾ उसकी कलà¥à¤ªà¤¨à¤¾ तो हमें पहले ही हो चà¥à¤•à¥€ थी। गांव-गांव, शहर, पà¥à¤°à¤¾à¤¨à¥à¤¤à¥€à¤¯ सà¤à¤¾à¤à¤‚ और à¤à¤¾à¤°à¤¤ के बाहर कà¥à¤› देशों में जाकर पà¥à¤°à¤¤à¥à¤¯à¤•à¥à¤· रूप से समà¥à¤ªà¤°à¥à¤• करने का परिणाम इतनी विशाल जनसमà¥à¤¹ की उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ à¤à¤• सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ पर हà¥à¤ˆà¥¤ निरनà¥à¤¤à¤° कारà¥à¤¯à¤•à¤°à¥à¤¤à¥à¤¤à¤¾à¤“ं से और आरà¥à¤¯à¤œà¤¨à¥‹à¤‚ से समà¥à¤ªà¤°à¥à¤• बना रहा। बार-बार उनà¥à¤¹à¥‡à¤‚ आने के लिठआहà¥à¤µà¤¾à¤¨ किया गया। इसके पशà¥à¤šà¤¾à¤¤à¥ रातदिन कारà¥à¤¯à¤•à¤°à¥à¤¤à¤¾ इसमें जà¥à¤Ÿà¥‡ रहे, जैसे-जैसे समय आ रहा था वैसे-वैसे कारà¥à¤¯à¤•à¤°à¥à¤¤à¤¾à¤“ं की सकà¥à¤°à¤¿à¤¯à¤¤à¤¾ जिमà¥à¤®à¥‡à¤¦à¤¾à¤°à¤¿à¤¯à¤¾à¤‚ और मन में à¤à¤• चिनà¥à¤¤à¤¾ बà¥à¤¤à¥€ जा रही थी। चिनà¥à¤¤à¤¾ इसलिठबॠरही थी कि जो अनà¥à¤®à¤¾à¤¨ था उससे अघिक उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ का अनà¥à¤®à¤¾à¤¨ हो गया था। यह à¤à¥€ हो गया था कि इतने सारे वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿à¤¯à¥‹à¤‚ की वà¥à¤¯à¤µà¤¸à¥à¤¥à¤¾ जो कठिन कारà¥à¤¯ है वह कहीं बिगॠन जाठकिनà¥à¤¤à¥ आरà¥à¤¯ पà¥à¤°à¤¤à¤¿à¤¨à¤¿à¤§à¤¿ सà¤à¤¾ दिलà¥à¤²à¥€ और दिलà¥à¤²à¥€ की सारी आरà¥à¤¯ समाजें उनके सारे सदसà¥à¤¯ विशेषकर आरà¥à¤¯à¤µà¥€à¤° दल जो जगबीर सिंह और बृहसà¥à¤ªà¤¤à¤¿ जी आरà¥à¤¯ के सानिधà¥à¤¯ कारà¥à¤¯ कर रहा था वह विशेष सहयोगी रहा। 60 बसें जो यातà¥à¤°à¤¿à¤¯à¥‹à¤‚ को लाने ले जाने का कारà¥à¤¯ रात-दिन कर रही थीं उससे आरà¥à¤¯à¤µà¥€à¤° दल की बड़ी हिसà¥à¤¸à¥‡à¤¦à¤¾à¤°à¥€ रही। सà¤à¥€ कारà¥à¤¯à¤•à¤°à¥à¤¤à¤¾à¤“ं व दिलà¥à¤²à¥€ वासियों ने अतिथि देव की परमà¥à¤ªà¤°à¤¾ को निरà¥à¤µà¤¾à¤¹ करने में जà¥à¤Ÿ गठऔर उसमें वे सफल हो गà¤, इतनी आतà¥à¤®à¥€à¤¯à¤¤à¤¾ इतना समरà¥à¤ªà¤£ परिवार की परिवार जिस कारà¥à¤¯ को पूरà¥à¤£ करने में लगे हों, वहां à¤à¤¸à¥€ à¤à¤µà¥à¤¯à¤¤à¤¾ होना आशà¥à¤šà¤°à¥à¤¯ वाली बात नहीं है। इस कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® में देश के कौने-कौने से आरà¥à¤¯à¤œà¤¨ पहà¥à¤‚चे, कारà¥à¤¯à¤•à¤°à¥à¤¤à¤¾ के रूप में à¤à¥€ उनका सहयोग पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤ होता रहा। à¤à¤¾à¤µà¤¨à¤¾à¤¤à¥à¤®à¤• और आतà¥à¤®à¥€à¤• संबंल à¤à¥€ उनसे मिलता रहा। जो इस कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® का à¤à¤• संबंल रहा।
चौथा बिनà¥à¤¦à¥ था, कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® को गरिमा पà¥à¤°à¤¦à¤¾à¤¨ करने वाले कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® और उनकी पà¥à¤°à¤¸à¥à¤¤à¥à¤¤à¤¿ के लिठआमनà¥à¤¤à¥à¤°à¤¿à¤¤ वकà¥à¤¤à¤¾à¤—ण, विदà¥à¤µà¤¾à¤¨ अतिथि à¤à¤µà¤‚ शà¥à¤°à¥‹à¤¤à¤¾à¤—ण।
इस कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® में तीनों ही बातों का पूरà¥à¤£ समावेश था। कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® के जो सतà¥à¤° थे पà¥à¤°à¤¤à¥à¤¯à¥‡à¤• सतà¥à¤° समाज, राषà¥à¤Ÿà¥à¤°, वैदिक धरà¥à¤® कà¥à¤°à¥€à¤¤à¤¿à¤¯à¥‹à¤‚ à¤à¤µà¤‚ पाखणà¥à¥œ से संबंधित थे और पà¥à¤°à¤¤à¥à¤¯à¥‡à¤• विषय पर जो वकà¥à¤¤à¤¾ आमनà¥à¤¤à¥à¤°à¤¿à¤¤ किठगठथे वे बहà¥à¤¤ ही विदà¥à¤µà¤¤à¤¾ पूरà¥à¤£ सामयिक परिसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ को धà¥à¤¯à¤¾à¤¨ में रखते हà¥à¤ उनके उदà¥à¤¬à¥‹à¤§à¤¨ हà¥à¤à¥¤ सà¥à¤¥à¤¾à¤ªà¤¿à¤¤ à¤à¤œà¤¨à¥‹à¤ªà¤¦à¥‡à¤¶à¤•à¥‹à¤‚ की उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ हà¥à¤ˆ उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ की दृषà¥à¤Ÿà¤¿ से à¤à¤¾à¤°à¤¤ वरà¥à¤· के अनेक कà¥à¤·à¥‡à¤¤à¥à¤° से शà¥à¤°à¤¦à¥à¤§à¤¾à¤²à¥ उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤ रहे 2000 से अधिक आरà¥à¤¯à¤œà¤¨à¥‹à¤‚ की 28 देशों से उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ रही। जिसमें पाकिसà¥à¤¤à¤¾à¤¨, बंगला देश, द.अफà¥à¤°à¤¿à¤•à¤¾, मॉरिशस, सूरीनाम, हॉलैणà¥à¤¡, नà¥à¤¯à¥‚जीलैणà¥à¤¡, सिंगापà¥à¤°, थाईलैणà¥à¤¡, कैनेड़ा, फिजी, नेपाल, बरà¥à¤®à¤¾, इंगà¥à¤²à¥ˆà¤£à¥à¤¡, कीनिया, अमेरिका, आसà¥à¤Ÿà¥à¤°à¥‡à¤²à¤¿à¤¯à¤¾ आदि देशों से पà¥à¤°à¤¤à¤¿à¤¨à¤¿à¤§à¤¿ उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤ हà¥à¤ थे। इतने पà¥à¤°à¤¤à¤¿à¤¨à¤¿à¤§à¤¿à¤¯à¥‹à¤‚ का à¤à¤• उदà¥à¤¦à¥‡à¤¶à¥à¤¯ के लिठउपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ होना कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® की गरिमा बà¥à¤¾à¤¨à¥‡ के लिठथा।
आगनà¥à¤¤à¥à¤• महानà¥à¤à¤¾à¤µ - कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® में पधारने वाले संनà¥à¤¯à¤¾à¤¸à¥€, विदà¥à¤µà¤¾à¤¨, à¤à¤œà¤¨à¥‹à¤ªà¤¦à¥‡à¤¶à¤• à¤à¤µà¤‚ सामाजिक व राजनैतिक दृषà¥à¤Ÿà¤¿ से पहचान रखने वाले 500 से अधिक महानà¥à¤à¤¾à¤µ पधारे थे।
वकà¥à¤¤à¤¾ के रूप में अनेक संनà¥à¤¯à¤¾à¤¸à¥€à¤—ण और विदà¥à¤µà¤¾à¤¨à¥‹à¤‚ को आमनà¥à¤¤à¥à¤°à¤¿à¤¤ किया गया था। जिसमें सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ धरà¥à¤®à¤¾à¤¨à¤¨à¥à¤¦à¤œà¥€, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ पà¥à¤°à¤£à¤µà¤¾à¤¨à¤¨à¥à¤¦à¤œà¥€, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ देववà¥à¤°à¤¤à¤œà¥€, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ विवेकाननà¥à¤¦à¤œà¥€, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ समà¥à¤ªà¥‚रà¥à¤£à¤¾à¤¨à¤¨à¥à¤¦à¤œà¥€, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ वà¥à¤°à¤¤à¤¾à¤¨à¤¨à¥à¤¦à¤œà¥€, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ सदाननà¥à¤¦à¤œà¥€, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ गोविनà¥à¤¦à¤¾à¤—िरीजी, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ शà¥à¤°à¤¦à¥à¤§à¤¾à¤¨à¤¨à¥à¤¦ जी, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ शारदाननà¥à¤¦à¤œà¥€, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ सà¥à¤§à¤¾à¤¨à¤¨à¥à¤¦à¤œà¥€, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ चिदाननà¥à¤¦à¤œà¥€, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ विदेह योगीजी, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ बà¥à¤°à¤¹à¥à¤®à¤¾à¤¨à¤¨à¥à¤¦à¤œà¥€, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ धरà¥à¤®à¤®à¥à¤¨à¤¿à¤œà¥€, साधà¥à¤µà¥€ उतà¥à¤¤à¤¾à¤®à¤¾à¤¯à¤¤à¤¿ जी, साधà¥à¤µà¥€ पà¥à¤·à¥à¤ªà¤¾à¤œà¥€à¥¤
विदà¥à¤µà¤¾à¤¨ - डॉ. सोमदेव शासà¥à¤¤à¥à¤°à¥€, डा. वेदपालजी, डॉ. महेनà¥à¤¦à¥à¤° अगà¥à¤°à¤µà¤¾à¤² जी, डॉ. जà¥à¤µà¤²à¤¨à¥à¤¦à¤¾ जी, डॉ. पà¥à¤°à¤¶à¤¸à¥à¤• मितà¥à¤° जी, आचारà¥à¤¯ सतà¥à¤¯à¤¾à¤¨à¤¨à¥à¤¦ वेदवागीश जी, आचारà¥à¤¯ वागीश जी ;à¤à¤Ÿà¤¾à¤¦à¥à¤§, आचारà¥à¤¯ वेद पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤¶ शà¥à¤°à¥‹à¤¤à¥à¤°à¤¿à¤¯, डॉ. महेश वेदालंकार, आचारà¥à¤¯ अगà¥à¤¨à¤¿à¤µà¥à¤°à¤¤ जी, आचारà¥à¤¯ सनत कà¥à¤®à¤¾à¤° जी, डॉ. जयेनà¥à¤¦à¥à¤° ;नोà¤à¤¡à¤¾à¤¦à¥à¤§, डॉ. करà¥à¤£à¤¦à¥‡à¤µ जी, आचारà¥à¤¯ पà¥à¤¨à¥€à¤¤ शासà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ जी, डॉ. रामकृषà¥à¤£ शासà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ जी, डॉ. वीर पाल विदà¥à¤¯à¤¾à¤²à¤‚कार जी, डॉ. दà¥à¤²à¤¾à¤² शासà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ जी, डॉ. सूरà¥à¤¯à¤¾ देवी जी, डॉ. ननà¥à¤¦à¤¿à¤¤à¤¾ जी, डॉ. अनà¥à¤¨à¤ªà¥‚रà¥à¤£à¤¾ जी, डॉ. पà¥à¤°à¤¿à¤¯à¤µà¤¨à¥à¤¦à¤¾ जी, आचारà¥à¤¯à¤¾ गायतà¥à¤°à¥€ जी ;नोà¤à¥œà¤¾à¤¦à¥à¤§, डॉ. पवितà¥à¤°à¤¾ विदà¥à¤¯à¤¾à¤²à¤‚कार जी, डॉ. उमा आरà¥à¤¯à¤¾ जी,
à¤à¤œà¤¨à¥‹à¤ªà¤¦à¥‡à¤¶à¤• - योगेश दतà¥à¤¤ जी, पं. सतà¥à¤¯à¤ªà¤¾à¤² जी पथिक, नरेश दतà¥à¤¤ जी, कà¥à¤²à¤¦à¥€à¤ª जी, अंजली जी, कà¥à¤²à¤¦à¥€à¤ª विदà¥à¤¯à¤¾à¤°à¥à¤¥à¥€ जी, शà¥à¤°à¥€ दिनेश पथिक, घनशà¥à¤¯à¤¾à¤® पà¥à¤°à¥‡à¤®à¥€ जी, जगत वरà¥à¤®à¤¾ जी, आचारà¥à¤¯ अशोक जी, आचारà¥à¤¯ मोहित शासà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ जी, à¤à¤¾à¤¨à¥à¤ªà¥à¤°à¤¤à¤¾à¤ª शासà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ जी, केशवदेव शरà¥à¤®à¤¾ जी, कलà¥à¤¯à¤¾à¤£à¤¦à¥‡à¤µ जी।
कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® का पà¥à¤°à¤¾à¤°à¤‚ठमहाशय धरà¥à¤®à¤ªà¤¾à¤²à¤œà¥€ (à¤à¤®.डी.à¤à¤š.) à¤à¤µà¤‚ सà¤à¤¾ पà¥à¤°à¤§à¤¾à¤¨ शà¥à¤°à¥€ सà¥à¤°à¥‡à¤¶ चनà¥à¤¦à¥à¤° आरà¥à¤¯ के करकमलों से ओ3मॠधà¥à¤µà¤œà¤¾à¤°à¥‹à¤¹à¤£ कर किया गया। टाणà¥à¤¡à¤¾ की कनà¥à¤¯à¤¾à¤“ं ने धà¥à¤µà¤œ गीत गाया। ततà¥à¤ªà¤¶à¥à¤šà¤¾à¤¤à¥ कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® का उदà¥à¤˜à¤¾à¤Ÿà¤¨ à¤à¤¾à¤°à¤¤ के राषà¥à¤Ÿà¥à¤°à¤ªà¤¤à¤¿ माननीय राम नाथ जी कोविनà¥à¤¦ के माधà¥à¤¯à¤® से हà¥à¤†à¥¤ अपने उदà¥à¤¬à¥‹à¤§à¤¨ में पूरà¥à¤µ परिचय में परिवार के सदसà¥à¤¯à¥‹à¤‚ का आरà¥à¤¯ समाज से जà¥à¥œà¤¨à¥‡ à¤à¤µà¤‚ सà¥à¤µà¤¯à¤‚ को कानपà¥à¤° के आरà¥à¤¯ विदà¥à¤¯à¤¾à¤²à¤¯ से शिकà¥à¤·à¤¾ गà¥à¤°à¤¹à¤£ करना बताया। इस अवसर पर हिमाचल के राजà¥à¤¯à¤ªà¤¾à¤² माननीय आचारà¥à¤¯ देववà¥à¤°à¤¤à¤œà¥€, सिकà¥à¤•à¤¿à¤® के राजà¥à¤¯à¤ªà¤¾à¤² माननीय गंगा पà¥à¤°à¤¸à¤¾à¤¦ जी, केनà¥à¤¦à¥à¤°à¥€à¤¯ मनà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ शà¥à¤°à¥€ हरà¥à¤· वरà¥à¤§à¤¨ जी, शà¥à¤°à¥€ सतà¥à¤¯à¤ªà¤¾à¤² सिंह जी, सांसद शà¥à¤°à¥€ सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ सà¥à¤®à¥‡à¤§à¤¾à¤¨à¤¨à¥à¤¦ जी, सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ गोविनà¥à¤¦à¤—िरी जी आदि की उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ रही। इसके अतिरिकà¥à¤¤ उतà¥à¤¤à¤° पà¥à¤°à¤¦à¥‡à¤¶ के मà¥à¤–à¥à¤¯à¤®à¤¨à¥à¤¤à¥à¤°à¥€ योगी आदितà¥à¤¯à¤¨à¤¾à¤¥ जी, हरियाणा के मà¥à¤–à¥à¤¯à¤®à¤¨à¥à¤¤à¥à¤°à¥€ शà¥à¤°à¥€ मनोहर खटà¥à¤Ÿà¤°, वितà¥à¤¤à¤®à¤¨à¥à¤¤à¥à¤°à¥€ शà¥à¤°à¥€ कैपà¥à¤Ÿà¤¨ अà¤à¤¿à¤®à¤¨à¥à¤¯à¥, योग गà¥à¤°à¥ सà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€ रामदेवजी ;पतंजलिदà¥à¤§, आचारà¥à¤¯ बाल कृषà¥à¤£ जी तथा समापन के अवसर पर à¤à¤¾à¤°à¤¤ के गृहमंतà¥à¤°à¥€ राजनाथ सिंह जी, इसके अतिरिकà¥à¤¤ विशà¥à¤µ हिनà¥à¤¦à¥‚ परिषद, आर. à¤à¤¸. à¤à¤¸. तथा कांगà¥à¤°à¥‡à¤¸ के वरिषà¥à¤ नेता शà¥à¤°à¥€ रमाकानà¥à¤¤ गोसà¥à¤µà¤¾à¤®à¥€, दिलà¥à¤²à¥€ पà¥à¤°à¤¦à¥‡à¤¶ के उपमनà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ शà¥à¤°à¥€ मनीष सिसोदिया आदि उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤ थे। सबने अपने उदà¥à¤¬à¥‹à¤§à¤¨ से उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤ आरà¥à¤¯à¤œà¤¨à¥‹à¤‚ को लाà¤à¤¾à¤¨à¥à¤µà¤¿à¤¤ किया।
उपरोकà¥à¤¤ कारणों से कारà¥à¤¯ की गंà¤à¥€à¤°à¤¤à¤¾ का सृजन हà¥à¤† जिसमें सà¤à¥€ कà¥à¤·à¥‡à¤¤à¥à¤° के महानà¥à¤à¤¾à¤µà¥‹à¤‚ का पूरà¥à¤£ योगदान रहा। कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® सà¥à¤¥à¤² इतना विशाल था कि जिसमें à¤à¤• सà¥à¤µà¤¸à¥à¤¥ आदमी को à¤à¥€ पूरी तरह देखने में परेशानी हो रही थी, थकान हो जाती थी, इसलिठवृदà¥à¤§à¤œà¤¨à¥‹à¤‚ के लिठया जो पैदल नहीं चल सकते थे उनके लिठ10 ई-रिकà¥à¤¶à¤¾ की निःशà¥à¤²à¥à¤• à¤à¥à¤°à¤®à¤£ वà¥à¤¯à¤µà¤¸à¥à¤¥à¤¾ की गई थी, जिसमें हजारों वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ बैठकर वांछित सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ पर आ-जा रहे थे। कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® का पाणà¥à¤¡à¤¾à¤² इतना à¤à¤µà¥à¤¯ और विशाल बना, जो दिलà¥à¤²à¥€ की राजधानी में संà¤à¤µà¤¤à¤ƒ नगणà¥à¤¯ से सà¥à¤¥à¤¾à¤¨à¥‹à¤‚ पर ही देखा जा सकता है, जिसमें बैठने की 12 से 15 हजार वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿à¤¯à¥‹à¤‚ की कà¥à¤·à¤®à¤¤à¤¾ थी। उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ का पूरà¥à¤µ अनà¥à¤®à¤¾à¤¨ होने के कारण मà¥à¤–à¥à¤¯ पाणà¥à¤¡à¤¾à¤² के बाहर बड़े-बड़े सà¥à¤•à¥à¤°à¥€à¤¨ लगा रखे थे, जिनमें हजारों वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ पाणà¥à¤¡à¤¾à¤² के बाहर à¤à¥€ देखते पाठगà¤à¥¤ पाणà¥à¤¡à¤¾à¤² पूरी तरह à¤à¤°à¤¾ रहा। इसके अतिरिकà¥à¤¤ 16 ककà¥à¤· अलग से थे जिनमें अलग-अलग विषयों पर विदà¥à¤µà¤¾à¤¨ लोग गोषà¥à¤ ीयां कर रहे थे। बहà¥à¤¤ ही विसà¥à¤¤à¥ƒà¤¤ अà¤à¥‚तपूरà¥à¤µ पà¥à¤°à¤¦à¤°à¥à¤¶à¤¨à¥€ जिसमें हजारों चितà¥à¤° लगे थे आकरà¥à¤·à¤£ का मà¥à¤–à¥à¤¯ केनà¥à¤¦à¥à¤° था।
दकà¥à¤·à¤¿à¤£ अफà¥à¤°à¤¿à¤•à¤¾ की मूल कनà¥à¤¯à¤¾à¤“ं ने वेद मनà¥à¤¤à¥à¤° पाठ, हवन व à¤à¤œà¤¨ तथा साधà¥à¤µà¥€ मैतà¥à¤°à¤¯à¥€ दà¥à¤µà¤¾à¤°à¤¾ सनà¥à¤¯à¤¾à¤¸ à¤à¤• विशेष कारà¥à¤¯ था। इस अवसर पर सनà¥à¤¯à¤¾à¤¸ व वानपà¥à¤°à¤¸à¥à¤¥ दीकà¥à¤·à¤¾ ली गई।
कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® की विशेषता - यह थी कि परमातà¥à¤®à¤¾ की कृपा से हजारों की दैनिक उपसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ में किसी à¤à¥€ पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° की कोई दà¥à¤°à¥à¤˜à¤Ÿà¤¨à¤¾ घटित नहीं हà¥à¤ˆ, कोई अवà¥à¤¯à¤µà¤¸à¥à¤¥à¤¾ नहीं हà¥à¤ˆà¥¤
पà¥à¤°à¤¤à¥à¤¯à¥‡à¤• ने यही कहा कि 2012 से à¤à¥€ अचà¥à¤›à¥€ सरà¥à¤µà¤¸à¥à¤µà¤¿à¤§à¤¾ यà¥à¤•à¥à¤¤ यह कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® रहा।
साहितà¥à¤¯ - के लगà¤à¤— 200 सà¥à¤Ÿà¥‰à¤² लगे थे जितना साहितà¥à¤¯ व अनà¥à¤¯ सामगà¥à¤°à¥€ इस अवसर पर वितरित हà¥à¤ˆ, उतनी कहीं कà¤à¥€ नहीं हà¥à¤ˆ, यह अपने आप में à¤à¤• विशेषता रही।
कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® सà¥à¤¥à¤² अà¤à¥‚तपूरà¥à¤µ था - वैसे तो पूरा कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® सà¥à¤¥à¤² ही अपने आपमें सà¥à¤¸à¤œà¥à¤œà¤¿à¤¤, सà¥à¤¨à¥à¤¦à¤°, अकलà¥à¤ªà¤¨à¥€à¤¯, साजसजà¥à¤œà¤¾ को देखते हà¥à¤ मनà¥à¤¤à¥à¤°à¤®à¥à¤—à¥à¤§ करदेने वाला था। मà¥à¤–à¥à¤¯ दà¥à¤µà¤¾à¤° इतना विशाल और आकरà¥à¤·à¤• था, जिसे रासà¥à¤¤à¥‡ से गà¥à¤œà¤°à¤¨à¥‡ वाला हर कोई देखने के लिठरूक कर देखता। इसके अतिरिकà¥à¤¤ कà¥à¤› और विशेष कारà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤®à¥‹à¤‚ की सूची à¤à¥€ है जो पहली बार हà¥à¤à¥¤
दिलà¥à¤²à¥€ के अनà¥à¤¤à¤°à¥à¤—त सà¥à¤¥à¤¿à¤¤ विदà¥à¤¯à¤¾à¤²à¤¯ के बचà¥à¤šà¥‹à¤‚ की ओर से बहà¥à¤¤ ही सैदà¥à¤§à¤¾à¤‚तिक तथा आरà¥à¤¯ समाज के इतिहास पर अनà¥à¤§à¤µà¤¿à¤¶à¥à¤µà¤¾à¤¸ निवारण के लिठलघॠनाटिकाà¤à¤‚ पà¥à¤°à¤¸à¥à¤¤à¥à¤¤ की गईं जिसे सà¤à¥€ ने सराहा।
मà¥à¤–à¥à¤¯ पाणà¥à¤¡à¤¾à¤² के अतिरिकà¥à¤¤ अलग-अलग छोटे 16 पाणà¥à¤¡à¤¾à¤² लगे थे, जिनमें निरनà¥à¤¤à¤° गोषà¥à¤ ियां चल रही थीं, जिनमें पà¥à¤°à¤¶à¥à¤¨-उतà¥à¤¤à¤°, शंका समाधान, पà¥à¤°à¤¦à¤°à¥à¤¶à¤¨à¥€, यजà¥à¤ž, विजà¥à¤žà¤¾à¤¨ आदि पर विदà¥à¤µà¤¾à¤¨ पà¥à¤°à¤µà¤šà¤¨ कर रहे थे।
लेजर शो - महरà¥à¤·à¤¿ दयाननà¥à¤¦ व आरà¥à¤¯ समाज की पà¥à¤°à¤®à¥à¤– घटनाओं पर लेजर शो का पà¥à¤°à¤¸à¤¾à¤°à¤£ अदà¥à¤à¥à¤¤ था, जिसे पहली बार देखा गया। सà¥à¤¥à¤¾à¤¨-सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ पर महरà¥à¤·à¤¿ के चितà¥à¤° व सनà¥à¤¦à¥‡à¤¶, वेद वाकà¥à¤¯ आदि लगाठगठथे।
वरà¥à¤²à¥à¤¡ रेकारà¥à¤¡ बना - विशाल सà¥à¤¥à¤² पर 10,000 यजà¥à¤žà¤¿à¤•à¥‹à¤‚ दà¥à¤µà¤¾à¤°à¤¾ à¤à¤• साथ यजà¥à¤ž करने का पहला अवसर था। विहंगम दृशà¥à¤¯ आतà¥à¤®à¤µà¤¿à¤à¥‹à¤° कर रहा था। संसार में यह पहला अवसर था जब इतनी बड़ी संखà¥à¤¯à¤¾ में इसे समà¥à¤ªà¤¨à¥à¤¨ करवाया गया। इसे गोलà¥à¤¡ वरà¥à¤²à¥à¤¡ ने विशà¥à¤µ रेकारà¥à¤¡ में दरà¥à¤œ किया गया।
गï¿
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